हल्द्वानी: 14 घंटे बाद हुई शव की शिनाख्त
जनप्रतिनिधियों व परिजनों ने मेडिकल चौकी में किया आक्रोश व्यक्त, पुलिस और अस्पताल पर लापरवाही बरतने का आरोप
–ब्यूरो रिपोर्ट: दीपक भंडारी–
हल्द्वानी। सड़क हादसे में युवक की मौत होने के बाद उसका शव 14 घंटे तक मोर्चरी में रखा गया। शुक्रवार को जब पुलिस न शव की शिनाख्त कर मृतक के परिजनों को सूचित किया तो परिजनों में कोहराम मच गया और क्षेत्र के जनप्रतिनिधि सहित कई लोग मेडिकल चौकी पहुंच गए, और जमकर हंगामा काटा। इसी बीच पुलिस ने लोगों को समझाने का काफी प्रयास किया लेकिन वे नहीं माने। उन्होंने सीधे पुलिस व चिकित्सालय प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। काफी देर बात पुलिस के अधिकारियों के समझाने के बाद लोगों का आक्रोश शांत हुआ। जानकारी के अनुसार बीते शाम करीब साढ़े सात बजे नई बस्ती बनभूलपुरा निवासी 23 वर्षीय साजिद पुत्र अब्दुल माजिद मारूती सुजुकी शोरूम से काम कर अपने घर लौट रहा था। तभी बाइपास फायर बिग्रेड कार्यालय के पास उसकी बाइक सड़क किनारे एक पेड़ से टकरा गई। जिसमें साजिद गंभीर रूप से घायल हो गया।
स्थानीय लोगों की सूचना पर पहुंची मंडी पुलिस ने घायल साजिद को उपचार के लिए सुशीला तिवारी अस्पताल भेज दिया। उपचार के दौरान साजिद ने रात दस बजे दम तोड़ दिया। अस्पताल प्रबन्धन ने साजिद के शव को रात एक बजे मोर्चरी में अज्ञात दर्शाते हुए रखवा दिया। बताया जा रहा है कि अस्पताल की ओर से पुलिस को मृतक के बारे में मेडिकल मैमो देर से भेजा गया। पुलिस ने शुक्रवार दोपहर डेढ़ बजे शव की शिनाख्त कर साजिद के परिजनों को सूचना दी। जिसके बाद साजिद के परिजन क्षेत्र के दर्जनों लोगों के साथ चौकी पहुंचे। जहां पर उन्होने पुलिस और अस्पताल प्रशासन पर लापरवाही का आरोप लगाया। उनका कहना था कि साजिद की शिनाख्त कर परिजनों को उसी समय सूचित किया जाता तो वे उसका इलाज कहीं और भी करा सकते थे। उनका कहना है कि साजिद के पास मोबाइल फोन तो था ही साथ ही आधारकार्ड भी था जिससे उसकी पहचान उसी समय की जा सकती थी। सपा के प्रदेश प्रमुख महासचिव शुएब अहमद भी चौकी पहुंच गए। उन्होने कहा कि वे लापरवाही के इस मामले को पुलिस के आला अधिकारियों के सामने रखेंगे। उन्होने इस मामले की जांच कर दोषियों पर कार्यवाही करने की भी मांग की है। इधर मंडी चौकी प्रभारी दिनेश चन्द्र जोशी ने बताया कि हादसे की सूचना पाकर तुरंत पुलिस कर्मियों को मौके पर भेजा गया था। घायल की मौत हो जाने के बाद अस्पताल की ओर से मैमो आने में देरी हुई जिस वजह से शिनाख्त में समय लग गया। पोस्टमार्टम के बाद शव परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया है।
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