उत्तराखंड – बरसाती नाले में कार बहने से लोकगायक की मौत , प्रदेश में शोक की लहर

Nainital News: उत्तराखंड के नैनीताल जनपद अंतर्गत रामनगर से एक दुखद खबर सामने आ रही है। बरसाती नाले में वाहन बह जाने से उत्तराखंड के प्रसिद्ध लोकगायक की मौत हो गई। टाटा सूमो में सवार आठ लोग भी बह गए। आनन फानन में स्थानीय लोगों की सहायता से फायर ब्रिगेड कर्मियों ने सवार लोगों को निकाला। घायलों को अस्पताल में भर्ती कराया। लोक गायक की मौत के बाद उनके परिवार में कोहराम मच गया वही पूरे उत्तराखंड में शोक की लहर दौड़ गई।
देर रात कॉर्बेट के जंगल से आए पानी से ढिकुली स्थित बरसाती नाला उफान पर आ गया। बताया जा रहा है कि रात 2.30 बजे के आसपास दिल्ली से आ रही टाटा सूमो नाले में बह गई। सभी दिल्ली से द्वाराहाट के गांव गनौली जा रहे थे। इस दौरान बड़ी मुश्किल से वाहन में सवार लाेगों को बाहर निकाला। इस दौरान दो लोग आगे बह गए। बाद में मौके पर पहुंचे फायर कर्मियों ने कार से दोनों को निकाला। आनन फानन में सभी को रामनगर के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया, जहां एक प्रकाश चंद्र फुलारा की हालत गंभीर देख उसे हायर सेंटर रैफर कर दिया।
लेकिन कालाढूंगी से रास्ते में उनकी मौत हो गई। प्रकाश चंद्र फुलारा उत्तराखंड की लोक गायक थे वह कई लोकगीत गा चुके हैं। उनके निधन पर उत्तराखंड के लोक गायक रमेश बाबू गोस्वामी, बिशन हरियाला, लोकगायिका बबीता देवी, शिबू रावत, नवीन रावत और उत्तरांचल भ्रांति संस्थान दिल्ली ने शोक जताते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी है।
कौन थे लोकगायक प्रकाश फुलारा –
मधुर और दिलकश आवाज के धनी प्रकाश फुलारा (Prakash Fulara, Uttarakhandi Folk Singer) एक पहाड़ी गायक और गीतकार थे। उन्हें कुमाऊंनी, गढ़वाली, जौनसारी, हिमाचली, बिहारी, भोजपुरी और हरियाणवी रागनी के गायन में महारत हासिल थी। प्रकाश फुलारा ग्राम बिठोली, द्वाराहाट, जिला अल्मोड़ा के मूल निवासी हैं। पिता कृष्णानंद फुलारा के घर जन्मे प्रकाश फुलारा गरीब परिवार से ताल्लुक रखते थे।
उन्होने बचपन से ही सामाजिक कार्यों में अपना योगदान दिया, रामलीला मंच में अपने नित्य ओर एक्टिंग के द्वारा लोगो का मन मोह लिया। सुराईखेत इंटर कालेज से पढ़ाई की ओर स्कूल राज्य प्रोग्राम में भी अपना योगदान दिया। उसके बाद राजनीति में पदार्पण भी आए और दो बार सरपंच रहे। बड़े ही सुंदर तरीके से काम किया जिसके कारण उत्तराखंड के प्रदेश अध्यक्ष संगठन में भी रहे । पूर्व मुख्यमंत्री रमेश पोखरियाल निशंक और हरीश रावत के द्वारा भी उन्हें पुरस्कार से नवाजा गया। लेकिन इस हादसे ने मधुर आवाज के धनी प्रकाश फुलारा को छीन लिया, यह खबर सुनते ही उनके गांव सहित पूरे जिले में शोक की लहर दौड़ पड़ी है ।
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