हल्द्वानी: पीडब्ल्यूडी के दो इंजीनियर रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार
हल्द्वानी। विजिलेंस टीम ने लोक निर्माण विभाग राष्ट्रीय राजमार्ग खंड रानीखेत के अधिशासी अभियंता महिपाल कालाकोटी और सहायक अभियंता हितेश कांडपाल को एक लाख रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा है। दोनों अफसरों ने एक व्यक्ति से बार लाइसेंस एनओसी जारी करने के एवज में तीन लाख रुपये मांगे। सौदा एक लाख रुपये में तय हुआ। दोनों अफसरों के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धाराओं में केस दर्ज करने की तैयारी है। विजिलेंस के अनुसार, एक व्यक्ति ने छह जुलाई को एसपी विजिलेंस हल्द्वानी को शिकायत दी।
बताया कि उसने रेस्टोरेंट के बार लाइसेंस के लिए 2019 में अल्मोड़ा में आवेदन किया था। डीएम ने लोनिवि समेत नौ विभागों से लाइसेंस के लिए रिपोर्ट मांगी। लोनिवि की देरी पर शिकायतकर्ता ने वहां अफसरों से संपर्क किया तो उन्होंने 3 लाख रुपये मांगे। बाद में एक लाख रुपये में बात तय हुई। विजिलेंस इंस्पेक्टर हेम चंद्र पांडे ने शिकायत की जांच कर आरोपों की पुष्टि की। इसके बाद ट्रैप टीम गुरुवार रानीखेत लोनिवि एनएच खंड दफ्तर पहुंची। यहां ईई महिपाल, एई हितेश दोनों थे। शिकायतकर्ता ने ईई को रकम सौंप दी, जिसे ईई ने सामने बैठे एई को दे दिया। दोपहर करीब 3.30 बजे ट्रैप टीम ने दोनों अफसरों को रिश्वत की रकम के साथ रंगे हाथों दबोच लिया।
एसपी विजिलेंस राजेश कुमार भट्ट ने बताया, आरोपों की पुष्टि के बाद ट्रैप टीम रानीखेत भेजी गई। लोनिवि के दोनों अफसरों को एक लाख रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया है।

निदेशक वी.विनय कुमार और डीआईजी अरुण मोहन जोशी ने ट्रैप टीम को इनाम देने की घोषणा की है। विजिलेंस के एसपी मुख्यालय धीरेंद्र गुंज्याल ने बताया कि हल्द्वानी टीम ने यह कार्रवाई की है। उन्होंने बताया कि अल्मोड़ा निवासी शिकायत कर्ता ने बार खोलने के लिए एनएच समेत अन्य विभागों से एनओसी मांगी थी। सभी ने एनओसी जारी कर दी थी। जबकि एनएच, पीडब्ल्यूडी के इंजीनियरों ने एनओसी लटका दी। इस पर आरोपियों ने बार संचालक से रिश्वत की मांग की।
आज बार संचालक पहले से तय हुए सौदे के अनुसार एनएच के दफ्तर पहुंचा। जहां एक लाख की रिश्वत ईई को सौंपी। ईई ने यह रकम एई को सौंपी। मौके पर विजिलेंस की ट्रैप टीम ने आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। आरोपी अधिशासी अभियंता का नाम महिपाल कालाकोटी और सहायक अभियंता का नाम हितेश कांडपाल है। दोनों को गिरफ्तार कर देहरादून विजिलेंस कोर्ट में पेश किया जाएगा। आरोपियों के घर और दफ्तर में विजिलेंस ने जरूरी फाइलें और दस्तावेज जब्त किए हैं। प्रोपर्टी और बैंक खातों की जानकारी जुटाई जा रही है।
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