उत्तराखंड:- राज्य के खिलाड़ियों के लिए बड़ी खुशखबरी
देहरादून:- उत्तराखंड के खिलाड़ियों के लिए बड़ी खुशखबरी , प्रदेश सरकार अब खिलाड़ियों को सरकारी नौकरी में 4 प्रतिशत आरक्षण देने की तैयारी कर रही है।
प्रस्तावित नई खेल नीति में इसकी व्यवस्था की गई है इसमें प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को प्रोत्साहन देने के लिए मुख्यमंत्री उदयीमान खिलाड़ी उन्नयन योजना शुरू करने और मुख्यमंत्री खेल विकास निधि के गठन के प्रस्ताव भी शामिल हैं इस निधि के लिए आबकारी से 1 प्रतिशत सेस लिया जाएगा इसके अलावा प्रदेश के पीएसयू आदि से सहयोग मदद ली जाएगी।
खेल मंत्री अरविंद पांडे ने प्रदेश के विभिन्न खेल संघों विभागीय अधिकारियों के साथ प्रस्तावित नई खेल नीति पर चर्चा की अभी प्रदेश में खेल नीति 2014 प्रभावी है अब इसमें कई नए प्रवधान जोड़े जाने प्रस्तावित है इसके लिए नई खेल नीति 2020 लाई जा रही है प्रस्तावित नीति में खेलों को तीन श्रेणियों में वर्गीकृत किया गया है पहली श्रेणी में एथलेटिक्स शूटिंग बैडमिंटन कयाकिंग ताइक्वांडो जूडो बॉक्सिंग को शामिल किया गया है।
दूसरी श्रेणी में वॉलीबॉल फुटबॉल व कराटे समेत 11 खेल है शेष खेल तीसरी श्रेणी में रखे गए हैं नीति में ओलंपिक एशियाड और कॉमनवेल्थ खेलों में भाग लेने के वाले खिलाड़ियों को योग्यताओं के साथ ही अंतरराष्ट्रीय और राष्ट्रीय स्तर के खेलों में हिस्सा लेने वाले खिलाड़ियों को नौकरी दिए जाने का प्रावधान किया गया है हर ग्राम पंचायत में 5 खेलों को रखना प्रस्तावित किया गया है खेलों के लिए उच्च स्तरीय कार्यक्रम बनाने और उन्हें विज्ञान और तकनीकी के साथ जोड़ा जाना प्रस्तावित है खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों के लिए देवभूमि रतन और देवभूमि द्रोणाचार्य पुरस्कार दिए जाएंगे राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित खेलों में हिस्सा लेने वाली टीमों को डेढ़ लाख रुपए देने की योजना है अच्छा प्रदर्शन करने वाले खिलाड़ियों को कॉलेज में प्रवेश के दौरान 5 प्रतिशत आरक्षण दिए जाने और खिलाड़ियों के लिए पेंशन योजना शुरू करने का प्रावधान किया गया है इसके अलावा नीति में खेल खेल में योजना स्पोर्ट्स ग्रीड बनाने छोटी उम्र के प्रतिभाशाली खिलाड़ियों को योग्यता के आधार पर चयन कर छात्रवृत्ति देने और दिव्यांग खिलाड़ियों को पैरालंपिक संघ के माध्यम से बढ़ाओ देने की बात कही गई है ।
बैठक में विभिन्न संघों द्वारा कई सुझाव दिए गए हैं इनमें खिलाड़ियों को रेल किराए में मिलने वाली छूट के लिए मुरादाबाद जाने के स्थान पर देहरादून और काठगोदाम रेलवे स्टेशन पर सुविधा दिए जाने का सुझाव प्रमुख रहा इसके अलावा खेल संघों में एकाधिकार समाप्त करने और जो खेल संघ रिकॉर्ड नहीं दे रहे हैं उन पर कार्यवाही करने का भी सुझाव दिया गया।
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